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NCCHWO के नेतृत्व में दक्षिण भारतीय स्तरीय सिलंबम चैंपियनशिप का सफल आयोजन — 800 से अधिक प्रतिभागियों ने दिखाया कौशल और उत्साह

 





बेंगलुरु, 12 दिसंबर 2025 —  

राष्ट्रीय भ्रष्टाचार नियंत्रण एवं मानव कल्याण संगठन (एनसीसी एवं एचडब्ल्यूओ), भारत और विश्व सिलंबम खेल संघ, कर्नाटक के संयुक्त तत्वावधान में *दक्षिण भारतीय स्तर की सिलंबम चैंपियनशिप* का सफल आयोजन किया गया। यह प्रतियोगिता बैंगलोर के संजय नगर स्थित डैफोडिल्स इंग्लिश स्कूल ग्राउंड में आयोजित हुई, जिसमें कर्नाटक, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, केरल तथा तेलंगाना राज्यों से लगभग **800 छात्र और स्नातकोत्तर खिलाड़ी** उत्साहपूर्वक सम्मिलित हुए।


यह आयोजन डॉ. वसंत पूवैया, (पूर्व सेना अधिकारी एनएसजी ब्लैक कैट कमांडो) के नेतृत्व में सम्पन्न हुआ, जो NCCHWO के राष्ट्रीय समन्वयक (नागरिक रक्षा प्रकोष्ठ) है एवं कर्नाटक राज्य के अध्यक्ष भी हैं। आयोजन में महासचिव एस. रोलैंड (एम.एससी., एमबीए, एम.एससी. वाईएफएच) ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, जो NCCHWO के सक्रिय सदस्य भी हैं।

कार्यक्रम का उद्घाटन भव्य समारोह के साथ हुआ। **मुख्य अतिथि डॉ. एस. सुधाकरन**, संस्थापक अध्यक्ष, विश्व सिलंबम स्पोर्ट्स एसोसिएशन (WSSA) ने अपने प्रेरक संबोधन में कहा कि पारंपरिक भारतीय मार्शल आर्ट ‘सिलंबम’ का पुनरुत्थान युवाओं में अनुशासन, आत्मरक्षा और मानसिक दृढ़ता को बढ़ावा देता है।  उद्घाटन समारोह के विशिष्ट अतिथि **श्री एस. डी. कुमार**, अध्यक्ष, *तिरुवल्लुवर संगम* और **डॉ. के. वसंत पूवैया**, बैंगलोर ने भी प्रतिभागियों का मनोबल बढ़ाया और आयोजन समिति को शुभकामनाएँ दीं।  

चैंपियनशिप के दौरान पुरुष और महिला दोनों वर्गों में रोमांचक मुकाबले देखने को मिले। खिलाड़ियों ने पारंपरिक हथियार तकनीक, शारीरिक संतुलन और त्वरित प्रतिक्रिया की अद्भुत झलक दिखाई। आयोजकों ने बताया कि ऐसी प्रतियोगिताएँ न केवल भारतीय मार्शल आर्ट की पहचान को जीवित रखती हैं बल्कि युवा पीढ़ी में अनुशासन और राष्ट्रीय गौरव की भावना भी जगाती हैं।

अंत में, विजेता खिलाड़ियों को पदक और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया। डॉ. पूवैया ने अपने समापन भाषण में कहा,  

“हमारा उद्देश्य खेल के माध्यम से न केवल शारीरिक सशक्तिकरण बल्कि राष्ट्र निर्माण में युवाओं की सक्रिय भागीदारी को प्रोत्साहित करना है।”  

इस अवसर पर स्थानीय गणमान्य नागरिक, खेलप्रेमी अभिभावक तथा विभिन्न स्कूली संस्थानों के प्राचार्य बड़ी संख्या में उपस्थित रहे। आयोजन को सर्वांगीण सफलता मिली और यह कर्नाटक राज्य के खेल इतिहास में एक नई मिसाल के रूप में दर्ज हुआ।

NCCHWO के राष्ट्रीय नेतृत्व ने डॉक्टर वसंत के कार्यों की सराहना की।।

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